टिहरी की एतिहासिक नथ और विश्व प्रसिद्ध मिठाई सिंगोरी का संवर्धन जरूरी: अंकित भट्ट

Team uklive



राज्य के तेज तर्रार युवा लेखक ,सामाजिक विचारक,अपने लेख से राज्य और देश के तमाम मुद्दों पर अपनी बेबाक टिप्पणी  रखने वाले अंकित भट्ट आजकल फिर सुर्खियों में है । 

दअरसल टिहरी गढ़वाल के अंकित भट्ट ने अपने नए संदेश में टिहरी की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत की प्रसिद्ध मिठाई सिंगोड़ी और विश्व प्रसिद्ध एतिहासिक टिहरी की नथ को राज्य मिठाई और राज्य आभूषण घोषित करने को लेकर उत्तराखंड में एक नए मुद्दे को जन्म दे दिया है। 

श्री भट्ट ने कहा कि जिस प्रकार आगरा अपने  पेठो के लिए,अलीगढ़ अपने तालों के लिए,बनारस अपनी साड़ियों के लिए,फिरोजाबाद अपनी चूड़ियों के लिए प्रसिद्ध है।उसी प्रकार टिहरी भी एक जमाने में टिहरी की नथ और टिहरी की सिंगोड़ी के लिए विश्व प्रसिद्ध था।लेकिन आज टिहरी की इसी पहचान को पुनर्जीवित करने के लिए वो प्रयासरत है।उन्हें टिहरी की जनता से भी अपार सहयोग और आशीर्वाद मिल रहा है।गौरतलब है कि दिल्ली सरकार में परिवहन मंत्री रह चुके गोपाल राय भी अंकित भट्ट के पलायन को लेकर बनाए गए मॉडल की तारीफ कर चुके है।और मंत्री जी ने उन्हें इस मॉडल को संसद भवन में प्रदर्शनी में दिखाने का विश्वास दिया था। देवपथ टीम से विशेष बातचीत में अंकित भट्ट कहते है उनके पास टिहरी में ही स्वास्थ्य,शिक्षा और वहां के स्थानीय लोगों के लिए स्वरोजगार का एक मॉडल है।और टिहरी की नथ और टिहरी की विश्व प्रसिद्ध मिठाई सिंगोड़ी वहां के स्थानीय लोगों को रोजगार से जोड़ने में सहायक सिद्ध होगी।उन्होंने केंद्र सरकार से इस विषय पर एक ठोस नीति बनाने का अनुरोध भी किया। उन्होंने कहा कि वो लोगों ज्यादा से ज्यादा संख्या में टिहरी की डिजाइन वाली नथ बनाने को प्रोत्साहित करेंगे और सरकार से मांग करेंगे कि नथ बनाने पर कोई सब्सिडी तरह की सहायता प्रदान हो।गौरतलब है कि श्री भट्ट बीते 7 साल से टिहरी की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत के संवर्धन का प्रयास कर रहे है।उन्होंने आगे कहा कि उन्हें अपने यशस्वी मुख्यमंत्री जी पर पूर्ण विश्वास है कि वह उनकी टिहरी के स्थानीय आम जनमानस की भावनाओं का ख्याल करते हुए उन्हें स्वरोजगार से जोड़ने का प्रयत्न करेंगे ताकि टिहरी फिर से अपने सास्कृतिक और ऐतिहासिक मानबिन्दुओं को पुनर्स्थापित कर सके।

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