सम्पादकीय कलम से
पौड़ी : उत्तराखंड राज्य इसलिए बनाया गया था कि यहां के युवाओं को नौकरी के साथ ही सम्मान भी मिले. अलग राज्य की मांग उस समय भविष्य की पीढ़ी को अच्छी नौकरी के साथ ही सम्मान की जिंदगी जीने के लिए लड़ी गई थी परन्तु उत्तराखंड बनने का फायदा चंद दलाल, नेताओं के अलावा चाटुकार अधिकारीयों को ही मिला.
आज उत्तराखंड का युवा उसी जगह पर आकर खड़ा हो गया जिस जगह पर उत्तराखंड राज्य बनने से पहले खड़ा था.
उस समय के आंदोलन कारियो ने ये सोच कर उत्तराखंड आंदोलन मे भाग लिया था कि आने वाला समय यहां के युवा का होगा परन्तु चाटुकार अधिकारीयों दलाल नेताओं की मिलीभगत ने उत्तराखंड को बर्बाद कर दिया.
आज अधिकारी जनता को कुछ नही समझ रहा नेता केवल जातिवाद, हिन्दू मुस्लिम मे लोगों को उलझाए हुए है. नौकरी के नाम पर केवल खानापूर्ति के साथ ही युवाओं को डंडे खिलाने का कार्य सरकार कर रही है.
ऐसा ही एक मामला पौड़ी जिले से आया है जहां एक सत्ता के नशे मे चूर उपजिलाधिकारी ने मान मर्यादा को ताक पर रखकर युवा के साथ बत्तमीजी की हद पार कर दी.
अग्निवीर भर्तियों में युवाओं को आंदोलन में सम्मिलित ना होने का प्रमाण पत्र के नाम पर प्रताड़ित करने का विरोध करने पर उपजिलाधिकारी पौड़ी द्वारा प्रदेश महासचिव युवा कांग्रेस नितिन बिष्ट ( पौड़ी ) से अभद्रता, गाली गलौच की गई.
कांग्रेस ने इस कृत्य की घोर निंदा की है.
कांग्रेसयों का कहना है अगर जल्दी से जल्दी एसडीएम को उनके पद से नहीं हटाया गया तो कांग्रेस पूरे प्रदेश में आंदोलन करेगी।
वहीं कांग्रेस टिहरी जिलाध्यक्ष ने जल्द उपजिलाधिकारी के खिलाफ मोर्चा खोलने की बात की है.


