रिपोर्ट.. ज्योति डोभाल
उत्तराखंड.. आम आदमी पार्टी उत्तराखंड के प्रदेश प्रभारी दिनेश मोहनिया,और प्रदेश अध्यक्ष कलेर ने आज खटीमा पहुंच कर आज के ही दिन 26 साल पहले 1994 में, उत्तराखंड के खटीमा में अलग राज्य के लिए हो रहे उत्तराखंड आंदोलन में हुए शहीदों को श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर आप प्रभारी दिनेश मोहनिया ने कहा, उत्तराखंड राज्य के लिए लड़े आंदोलन और इसमें हुए सभी शहीदों के ,अलग राज्य बनाने के उस सपने को पूरा करना आज भी बाकी है। आज भी ,उनके सपनों को जो उन्होंने उत्तराखंड के लिए देखा था उसको हकीकत में बदलना बाकी है। जिस सपने और अलग राज्य को लेकर उन्होंने अपने प्राणों की आहुति दी उन सपनों को उत्तराखंड बनने के 20 साल बीत जाने के बाद भी पूरा ना हो पाना ,उन शहीदों का अपमान होगा। उन्होंने शहीदों को पुष्प अर्पित करते हुए कहा,आप उन शहीदों को शत शत नमन करती है और उनके सपनों को पूरा करने के लिए संकल्पबद्ध है।
वहीं आप उत्तराखंड प्रदेश अध्यक्ष कलेर ने शहीदों को श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए कहा,आंदोलनकारियों और शहीदों के सपनों को पूरा करने का समय आ गया। उनकी अलग राज्य को लेकर जो सोच थी उनको पूरा करने का वक्त आ गया और आप पार्टी जनता के साथ मिलकर,उनके सपनों को पूरा करने का, हरसंभव प्रयास करेगी । खटीमा गोलीकांड के 26 वर्ष बीत जाने पर , आप के सभी कार्यकर्ताओं ने पूरे प्रदेश भर में ,शहीदों को श्रद्धांजलि दी। अलग राज्य के लिए हुए इस प्रदेशव्यापी आंदोलन में, एक सितंबर 1994 को हुए खटीमा कांड के बलिदानियों को भला कौन भूल सकता है।
इस मौके पर मौजूद स्थानीय आंदोलनकारियों के आश्रितों ने कहा, बीजेपी ,कांग्रेस पिछले 20 सालों से शहीदों के सम्मान, और सपनों को पूरा करने के लिए , कुछ खास नहीं कर पाए यहां तक अभी भी आंदोलनकारियों का चिन्हीकरण जारी है । जिससे यहां के आंदोलनकारियों और शहीदों के परिवारों में आज भी खासा रोष है।आंदोलनकारियों के परिजन आज भी उपेक्षा का दंश झेल रहे हैं । उनको सरकार की तरफ से वो हक नहीं मिला जिसके वो हक़दार थे । आम आदमी पार्टी ने कहा कि जिन शहीदों ने अपने प्राण देकर राज्य की नींव रखी उनके मूल सपनों को साकार करना हमारा लक्ष्य होगा । आप शहीदों के परिजनों, आश्रितों को उनका हक दिलाएगी , साथ ही आंदोलनकारियों को उनका वो सम्मान दिलाएगी जिसके वो हकदार हैं। राज्य बनने के 20 साल बीत जाने के बाद भी ,अगर आंदोलनकारी अपने चिन्हीकरण और पेंशन के लिए सरकार से लड़ रहे तो उत्तराखंड आंदोलनकारियों और शहीदों का इससे बड़ा अपमान कुछ नहीं । इस मौके पर ,अनुज अग्रवाल,सुनील खंडेलवाल, दिनेश भट्ट,विशन दत जोशी और सोप्रीत भाटिया मौजूद रहे।